हिमाचल, सहकारिता के क्षेत्र में देश का कर रहा पथ प्रदर्शनः उप-मुख्यमंत्री
शिमला/14/09/2025
हिमाचल प्रदेश में सहकारिता क्षेत्र को मजबूती प्रदान करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा चलाई जा रही विभिन्न पहलों की समीक्षा हेतु आज शिमला में आयोजित बैठक में केंद्रीय सहकारिता राज्य मंत्री कृष्ण पाल गुर्जर ने हिमाचल को सहकारिता का आदर्श राज्य बताते हुए इसकी उपलब्धियों की सराहना की। उन्होंने कहा कि विविधता से परिपूर्ण हिमाचल प्रदेश में सहकारिता क्षेत्र में असीम संभावनाएं हैं और प्रदेश सहकारिता के क्षेत्र में देश का पथ प्रदर्शन कर रहा है।
इस अवसर पर उन्होंने 121 ई-पैक्स (e-PACS) का शुभारंभ भी किया। बैठक की अध्यक्षता करते हुए उप-मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश सहकारिता आंदोलन का जनक है और यहां की सहकारी समितियों ने न केवल प्रदेश, बल्कि देशभर में मिसाल कायम की है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में प्रदेश में लगभग 20 लाख लोग सहकारिता से सीधे जुड़े हुए हैं और यह आंदोलन महिला सशक्तिकरण, ग्रामीण विकास और वित्तीय समावेशन का प्रभावी माध्यम बन चुका है।
राज्य में 2,287 प्राथमिक कृषि ऋण समितियां, 971 डेयरी समितियां, 441 बचत एवं ऋण समितियां, 386 विपणन समितियां, और 76 मछली पालन समितियां सक्रिय रूप से कार्य कर रही हैं। वहीं, डेयरी क्षेत्र में 561 नई समितियों का गठन हाल ही में हुआ है। उप-मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि राज्य सरकार ने केंद्र की सहकारी नीतियों के अनुरूप हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी नीति 2025 का प्रारूप तैयार किया है ताकि सहकारिता को व्यापक विस्तार मिल सके।
उन्होंने केंद्रीय मंत्री से हिमफैड और मिल्कफैड के डिजिटाइजेशन, समितियों के कंप्यूटरीकरण, हिमकैप्स लॉ कॉलेज को वित्तीय सहायता और त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय की फीस संरचना पर पुनर्विचार सहित अनेक मांगें भी रखीं। केंद्रीय मंत्री ने हिमाचल प्रदेश सरकार को पूर्ण साक्षर राज्य बनने पर बधाई दी और आश्वासन दिया कि केंद्र सरकार सहकारिता क्षेत्र में प्रदेश को हरसंभव सहयोग प्रदान करेगी।
बैठक में सहकारी समितियों के प्रतिनिधियों ने भी अपनी-अपनी उपलब्धियां साझा कीं, जबकि रजिस्ट्रार डी.सी. नेगी ने सहकारिता विभाग की गतिविधियों पर प्रेजेंटेशन दी। बैठक में सहकारिता मंत्रालय के संयुक्त सचिव रमन कुमार, राज्य सचिव सी. पॉलरासु, विभिन्न कॉपरेटिव बैंकों के एमडी, हिमफैड, मिल्कफैड, इफ्को और अन्य सहकारी संगठनों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।