रिलायंस जियो लाएगा भारत का सबसे बड़ा IPO, 30,000 करोड़ रुपये जुटाने की तैयारी
रिलायंस जियो अगले साल की पहली छमाही (जून 2026 तक) में स्टॉक मार्केट में उतरने की तैयारी कर रही है। ब्रोकरेज हाउस मोतीलाल ओसवाल (MOSL) के अनुमान के मुताबिक, जियो का आईपीओ लगभग 30,000 करोड़ रुपये का हो सकता है, जिससे यह देश का अब तक का सबसे बड़ा पब्लिक इश्यू बन जाएगा। फिलहाल सबसे बड़े आईपीओ का रिकॉर्ड ह्युंडई इंडिया के पास है, जिसने 2024 में करीब 27,000 करोड़ रुपये जुटाए थे।
रिपोर्ट्स के अनुसार, जियो प्लेटफॉर्म्स लिमिटेड (JPL) की इक्विटी वैल्यू करीब 11.9 लाख करोड़ रुपये (135 बिलियन डॉलर) आंकी गई है। इसमें से रिलायंस इंडस्ट्रीज (RIL) की हिस्सेदारी लगभग 7.91 लाख करोड़ रुपये (90 बिलियन डॉलर) की है। वहीं, JPL का एंटरप्राइज वैल्यू (EV) करीब 151 बिलियन डॉलर बताया जा रहा है। इसके अलावा, मॉर्गन स्टेनली, सिटी और बोफा जैसे अन्य ब्रोकरेज हाउस ने भी जियो के वैल्यूएशन का अनुमान क्रमशः 133, 135 और 127 बिलियन डॉलर के बीच लगाया है।
SEBI के हालिया प्रस्ताव के तहत बड़े आईपीओ के लिए पब्लिक ऑफर साइज को 5% से घटाकर 2.5% करने की सिफारिश की गई है। इसी आधार पर MOSL का अनुमान है कि जियो का इश्यू 30,000 करोड़ रुपये का हो सकता है। इस आईपीओ से 2020 में निवेश करने वाले ग्लोबल निवेशकों (मेटा, गूगल, KKR, PIF और मुबाडला) को एग्जिट का मौका मिलेगा।
विशेषज्ञों का मानना है कि जियो की लिस्टिंग के बाद RIL पर होल्डिंग डिस्काउंट को लेकर बहस तेज होगी। मॉर्गन स्टेनली का कहना है कि FY27 के लिए जियो का वैल्यूएशन 13x EV/EBITDA पर है, जबकि बोफा का अनुमान है कि लिस्टिंग के बाद RIL पर डिस्काउंट बढ़ सकता है। वहीं, सिटी का मानना है कि SEBI के नियमों में बदलाव से इसका असर सीमित हो सकता है।
ब्रोकरेज रिपोर्ट्स यह भी मानती हैं कि आईपीओ से पहले जियो अपने टैरिफ में 15% तक बढ़ोतरी कर सकती है, जिससे उसकी कमाई और मजबूत होगी। इसके अलावा 5G टेक्नोलॉजी, एंटरप्राइज बिजनेस और नई सेवाओं का विस्तार भी कंपनी की ग्रोथ में अहम भूमिका निभाएगा।
इस तरह, जियो का आईपीओ न केवल भारत का सबसे बड़ा इश्यू होगा बल्कि देश के टेलीकॉम और कैपिटल मार्केट में एक नया मील का पत्थर भी साबित हो सकता है।